दिल्ली के भीतर इन दिनों चुनावी सरगर्मियां चरम पर हैं. अलग–अलग पार्टियों के प्रत्याशी और संबंधित दलों के आला नेता रैलियां करने के साथ ही दरवाजे–दरवाजे जा रहे हैं. दिल्ली के भीतर भाजपा प्रत्याशी के लिए (बाबरपुर) में वोट मांगने के दौरान गृह मंत्री अमित शाह के बोल पर सियासी बखेड़ा खड़ा होने लगा है. अमित शाह ने यहां एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि, बटन (EVM) दबाओ तब इतने गुस्से के साथ दबाना कि बटन यहां ‘बाबरपुर’ में दबे और करंट ‘शाहीनबाग’ में लगे.
राहुल गांधी और केजरीवाल पर बोला हमला
अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी CAA लेकर आए लेकिन राहुल गांधी और अरविंद केजरीवाल एंड कंपनी इसका विरोध कर रही हैं. दिल्ली में दंगे कराए, लोगों को उकसाया, भड़काया, गुमराह किया, बसें जला दीं, लोगों की गाड़ियां जला दीं. ये लोग फिर से आए तो दिल्ली सुरक्षित नहीं रह सकती है. बीजेपी के पक्ष में वोट देने की अपील करने के साथ ही उन्होंने कहा कि 8 फरवरी को दिया आपका एक वोट बीजेपी प्रत्याशी को तो जिताएगा ही, साथ ही देश और दिल्ली को सुरक्षित करेगा और शाहीन बाग की घटनाओं को रोकने का भी काम करेगा.
गोपाल राय बोले, भाजपा की जमानत जब्त कराएंगे
यहां हम आपको बताते चलें कि AAP के वरिष्ठ नेता गोपाल राय बाबरपुर से वर्तमान विधायक हैं. वे बीत रही सरकार में मंत्री भी रहे हैं. उन्होंने अमित शाह की सभा और उक्त बयान पर ट्वीट करते हुए लिखा है कि जनता कॉलोनी, बाबरपुर में जनसभा को संबोधित किया, अपार समर्थन के लिए सभी का आभार. आने वाले 8 फरवरी को लोग झाड़ू को वोट देंगे और काम की राजनीति को आगे बढ़ाएंगे. भाजपा की नफ़रत की राजनीति का जवाब दिल्ली वाले मोहब्बत से देंगे और भाजपा की जमानत जब्त कराएंगे.
जनता कॉलोनी, बाबरपुर में जनसभा को संबोधित किया, अपार समर्थन के लिए सभी का आभार। आने वाले 8 फरवरी को लोग झाड़ू को वोट देंगे और काम की राजनीति को आगे बढ़ाएंगे। भाजपा की नफ़रत की राजनीति का जवाब दिल्ली वाले मोहब्बत से देंगे और भाजपा की जमानत जब्त कराएंगे। pic.twitter.com/pMYMcI75sT
— Gopal Rai (@AapKaGopalRai) January 26, 2020
पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने जताई आपत्ति
गृह मंत्री अमित शाह के ऐसे बोल पर कांग्रेस नेता व पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने अपने ट्वीट के माध्यम से आपत्ति दर्ज कराई. उन्होंने ट्विटर पर लिखा कि गांधीजी से नफरत करने वाले ही शाहीनबाग से छुटकारा पाना चाहते हैं. शाहीनबाग तो गांधी के मूलतत्व का प्रतिनिधि है. शाहीनबाग से छुटकारा पाने की कोशिश अहिंसा और सत्याग्रह से छुटकारा पाने की कोशिश है.
Home Minister seeks votes to ‘get rid of Shaheen Bagh’.
Only those who despise Gandhiji would want to get rid of Shaheen Bagh. Shaheen Bagh represents the essence of Mahatma Gandhi.
Getting rid of Shaheen Bagh amounts to getting rid of Ahimsa and Satyagraha.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) January 26, 2020
साल 2015 में नहीं चला था मोदी–शाह का जादू
यहां हम आपको बताते चलें कि साल 2014 के आम चुनाव में NDA को देश की सत्ता मिली. BJP सबसे बड़े दल के तौर पर उभरी. नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बने लेकिन आम चुनाव के लगभग 7-8 महीने बाद हुए दिल्ली के विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी को बहुमत मिला. सत्ताधारी कांग्रेस का खाता तक न खुला. दिल्ली की जनता ने AAP को कुल 67 सीटों से नवाजा और BJP को केवल 3 सीटें मिलीं, और ऐसा तब हुआ जब नरेंद्र मोदी का जादू लोगों के सिर चढ़कर बोल रहा था. अमित शाह NDA को लोकसभा चुनाव जितवाने के बाद से कुशल रणनीतिकार के तौर पर चर्चा के केंद्र में थे. ऐसे में फिलहाल गृह मंत्री के पद पर रहते हुए ‘शाहीनबाग में करंट’ लगने के बयान के अलग–अलग निहितार्थ निकाले जा रहे हैं/निकाले जाएंगे. अंतिम परिणाम भले ही 11 फरवरी को आएं लेकिन CAA/NRC के विरोध का केंद्र बन चुका शाहीनबाग फिर एक बार सुर्खियों में तो जरूर आ गया है.